
Prabhat Vaibhav,Digital Desk : मानसून शुरू होते ही मौसम में नमी और उमस आ जाती है। इस मौसम में वायरस और बैक्टीरिया भी तेजी से पनपते हैं, जो कई तरह की बीमारियां लेकर आते हैं। ऐसे में गुनगुना पानी पीने की आदत आपकी सेहत के लिए सबसे बड़ी ढाल बन सकती है। "उष्णं जलं पचति आमं तेन रोगा न जायते।" इस श्लोक के अनुसार गर्म पानी विषैले तत्वों को पचाता है, जिससे बीमारियों से बचाव होता है।
गुनगुना पानी पीने के कई फायदे
चरक संहिता के अनुसार, मानसून में शरीर की पाचन शक्ति धीमी होती है। इस कारण हम जो खाते हैं वह ठीक से पच नहीं पाता और शरीर में विषाक्त पदार्थ बनने लगते हैं। शरीर में जमा विषाक्त पदार्थ पसीने और मूत्र के माध्यम से बाहर निकल जाते हैं। इसके साथ ही यह रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने में मदद करता है, जिससे सर्दी, खांसी से राहत मिलती है।
नमी की वजह से गले में खराश, खांसी और कई तरह के संक्रमण हो सकते हैं। ऐसे में गर्म पानी पीने से इन समस्याओं से काफी राहत मिलती है और संक्रमण को दूर करने में भी मदद मिलती है। मानसून के दौरान नमी की वजह से अक्सर शरीर में अकड़न महसूस होती है। रोजाना गर्म पानी पीने से मांसपेशियों की अकड़न कम होती है और आराम मिलता है।
गर्म पानी पीने से शरीर से विषाक्त पदार्थ बाहर निकल जाते हैं।
आयुर्वेद के अनुसार गर्म पानी पीने से शरीर से विषाक्त पदार्थ बाहर निकल जाते हैं, जिससे मुंहासों की समस्या से भी राहत मिलती है और त्वचा निखरी हुई नजर आती है। सुश्रुत संहिता के अनुसार सुबह खाली पेट, खाना खाने से आधा घंटा पहले, खाना खाने के आधे घंटे बाद और रात को सोने से पहले गर्म पानी पीना चाहिए। जब आप सुबह खाली पेट गर्म पानी पीते हैं तो पाचन तंत्र सक्रिय होता है और मल त्याग आसान हो जाता है। वहीं, भोजन से आधा घंटा पहले पानी पीने से पाचन क्रिया बेहतर होती है। भोजन के आधे घंटे बाद दो से तीन गिलास पानी पीने से भोजन आसानी से पच जाता है, रात को सोने से पहले गर्म पानी पीने से अच्छी नींद आती है।