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Prabhat Vaibhav,Digital Desk : मई महीने की तपती गर्मी अपने चरम पर है, जिससे स्वास्थ्य समस्याओं में तेजी से वृद्धि देखी जा रही है। विशेषकर उल्टी और दस्त जैसी बीमारियों के कारण डिहाइड्रेशन के मामले चिंताजनक रूप से बढ़ गए हैं।

विशेषज्ञों की राय

डॉ. संदीप कुमार सिंह ने जानकारी दी है कि बढ़ते तापमान के कारण शरीर में पानी की कमी एक गंभीर खतरा बन गई है। उनके मुताबिक, "गर्मी के दौरान डिहाइड्रेशन के मरीजों की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि देखी गई है। इस समस्या को नजरअंदाज करना जानलेवा हो सकता है।"

डिहाइड्रेशन के मुख्य लक्षण

डॉ. सिंह के अनुसार, डिहाइड्रेशन के सामान्य लक्षणों में अत्यधिक प्यास लगना, मुंह का सूखना, चक्कर आना, सिरदर्द, थकावट, गहरे रंग का पेशाब या पेशाब की मात्रा में कमी शामिल हैं। इन लक्षणों के दिखते ही तुरंत चिकित्सकीय परामर्श लेना जरूरी है।

बचाव के आसान तरीके

डिहाइड्रेशन से बचाव के लिए पर्याप्त मात्रा में पानी पीना बेहद जरूरी है। साथ ही, धूप में निकलते समय शरीर को ढकने वाले कपड़े पहनने चाहिए और मौसमी फलों का सेवन बढ़ा देना चाहिए। डॉक्टरों की सलाह के मुताबिक, नारियल पानी, नींबू पानी, छाछ और ताजे फलों के रस जैसे पेय पदार्थों का नियमित सेवन लाभकारी होता है।

क्या करें, क्या न करें

व्यस्कों को विशेष रूप से कैफीन युक्त पदार्थ जैसे चाय, कॉफी आदि से परहेज करना चाहिए क्योंकि ये शरीर को तेजी से डिहाइड्रेट कर सकते हैं। उल्टी या दस्त होने की स्थिति में जीवन रक्षक घोल (ओआरएस) का सेवन बेहद फायदेमंद साबित होता है। ऐसी स्थिति में तुरंत चिकित्सक से संपर्क करें। सावधानी और जागरूकता से ही इस भीषण गर्मी में स्वास्थ्य की रक्षा की जा सकती है।