जनसंघ के संस्थापक पंडित दीनदयाल उपाध्याय की जयंती पर आज प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समय तमाम भाजपा नेताओं ने श्रद्धांजलि दी। वहीं बिहार की राजधानी पटना में भी पंडित दीनदयाल की जयंती समारोह में शामिल हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने एक बार फिर एनडीए में जाने की चर्चा पर विराम लगा दिया है।
पंडित दीनदयाल उपाध्याय को श्रद्धांजलि देने के बाद मीडिया कर्मियों से बात करते हुए सीएम नीतीश कुमार ने का एनडीए में शामिल होने के सवाल पर कहा कि ये सब फालतू बात है। इसमें मेरी कोई दिलचस्पी नहीं है। मेरा सिर्फ एक ही लक्ष्य है- विपक्ष को एकजुट करना। नीतीश कुमार ने ये बातें पटना में बिहार कैबिनेट की बैठक से पहले कही हैं। आमतौर पर मंगलवार को कैबिनेट की बैठक होती थी। हालांकि आज सोमवार को नीतीश कुमार के अचानक कैबिनेट बैठक को लेकर सवाल उठने लगे। इस पर भी मुख्यमंत्री ने जवाब दिया।
उन्होंने कहा कि आज कैबिनेट की बैठक केवल तेजस्वी यादव की व्यस्तता के कारण बुलाई गई है। तेजस्वी को मंगलवार के दिन कहीं बाहर जाना था, इसलिए हमने आज ही बैठक बुला ली। पंडित दीनदयाल उपाध्याय को श्रद्धांजलि देने के बाद नीतीश कुमार, डिप्टी सीएम तेजस्वी वहां से चले गए। उनके जाने के बाद भाजपा नेता कार्यक्रम में पहुंचे ।
प्रदेश अध्यक्ष सम्राट चौधरी, राजयसभा सांसद सुशील मोदी, पूर्व मंत्री नन्द किशोर यादव, और संगठन प्रभारी नागेंद्र श्रद्धांजलि देने पहुंचे। वहीं नीतीश कुमार एनडीए में वापसी के सवाल पर बिहार के पूर्व डिप्टी सीएम और भाजपा सांसद सुशील मोदी ने कहा- नीतीश कुमार एक राजनीतिक बोझ बन गए हैं और अब वे नाक भी रगड़ लेंगे तो उनकी एंट्री राजग में नहीं होने जा रही है।