चेन्नई / तमिलनाडु। तमिलनाडु के तंजावुर जिले में कल्लार समुदाय की एक युवती को एक दलित व्यक्ति से शादी करने पर उसके परिवार ने कथित तौर पर मार डाला। यह घटना यह घटना धीरे-धीरे आग की तरह फैलते-फैलते चर्चा, परिचर्चा और बहस का मुद्दा बन गया है। ताजी स्थिति के अनुसार मां-बाप के ऊपर हत्या का दर्ज हो गया है और पुलिस पूरे मामले की जांच करने में जुट गई है।
सूत्रों के अनुसार, पीड़िता लड़की तमिलनाडु के पट्टुकोट्टई स्थित नेवविदुथी की 19 वर्षीय ऐश्वर्या को तंजावुर के पूवलूर गांव के 19 वर्षीय दलित नवीन से प्यार हो गया था। नवीन देवेन्द्र कुला वेल्लार समुदाय से हैं, जो एक अनुसूचित जाति है। जबकि ऐश्वर्या कल्लार (पिछड़े) समुदाय से हैं, जो उसे क्षेत्र में एक सामाजिक तौर पर विकसित जाति है और अपना राजनीतिक प्रभाव रखता है।
इस मामले से सम्बद्ध एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि उनकी प्रेम कहानी उनके स्कूल के दिनों में शुरू हुई थी। नवीन ने मैकेनिकल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा पूरा करने के बाद तिरुपुर में एक कपड़ा फैक्ट्री में नौकरी कर रहा था। दूसरी तरफ ऐश्वर्या को अपनी के बाद उसी शहर में एक पावरलूम में काम करने लगी।
अधिकारी के अनुसार, “डेढ़ साल में उनका रिश्ता फलता-फूलता रहा और उन्होंने 31 दिसंबर, 2023 को कोयंबटूर के पास अवरामपलयम के एक मंदिर में शादी भी कर ली। चूंकि नवीन केवल 19 वर्ष था, इसलिए यह शादी कानूनी रूप से वैध नहीं थी।"
इस कानूनी अड़चन से अनजान जोड़े ने एक साथ नया जीवन शुरू करने के लिए तिरुपुर के वीरपंडी इलाके में एक घर किराए पर लिया और रहने लगे। इसी बीच ऐश्वर्या के पिता पेरुमल ने पल्लदम पुलिस में केस दर्ज कर दिया और गुमशुदगी की शिकायत पर कार्रवाई कर लड़की को थाने ले आए। नवीन ने पुलिस टीम का पीछा करता रहा और थाने के बाहर इंतजार करने लगा। बाद में दर्ज की गई शिकायत के अनुसार उसी दिन ऐश्वर्या के पिता पेरुमल उसे घर ले गए।
इस मामले में नवीन को बताया गया कि वह अपने माता-पिता के साथ जाने के लिए सहमत है और उसे दोबारा उससे संपर्क न करने की चेतावनी दी गई। नवीन उस रात अपने पैतृक गांव चला गया और अगली सुबह उन्हें उनकी मौत की खबर मिली। सूचनाओं के अनुसार रिश्तेदारों द्वारा उसके शव का जल्दबाजी में अंतिम संस्कार कर दिया गया था।
पुलिस ने अपराध में शामिल होने के संदेह में उसके पिता सहित परिवार के छह सदस्यों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया है। मामला भारतीय दंड संहिता की धारा 302 (हत्या की सजा) और 201 के तहत दर्ज किया गया है, जिसमें सबूत नष्ट करने के लिए सजा का भी प्रावधान शामिल है।
तिरुपुर पुलिस अधीक्षक कार्यालय के अनुसार पुलिस के समक्ष हुई बातचीत के बाद ऐश्वर्या अपने माता-पिता के साथ जाने के लिए तैयार हो गई थी। एक दूसरे अधिकारी ने बताया कि स्थानीय अधिकारियों ने शायद उसकी उम्र को देखते हुए उसे माता-पिता के साथ जाने की सलाह दी होगी। लेकिन, उन्हें यह नहीं पता था कि अगले कुछ घंटों में दलित से शादी करने पर उसके मां-बाप ही उसका जीवन समाप्त कर देंगे।
एफआईआर के मुताबिक लड़की अपने कमरे में मृत पाई गई थी। इसलिए लड़के ने लड़की के परिवार पर हत्या का आरोप लगाते हुए शिकायत दर्ज कराई है।