देहरादून। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के वरिष्ठ नेता और पूर्व मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने कांग्रेस पर अपने शासन में वोट बैंक, तुष्टिकरण और देश को बांटने की राजनीति करने का आरोप लगाते हुए कहा कि धामी सरकार बेहतर प्रबंधन, विकास और विरासत पर आगे बढ़ा रही है।
बलवीर रोड स्थित पार्टी मुख्यालय में पहुंचे पूर्व मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि आपदा में हमारी सरकार ने शानदार कार्य किया है।
उन्होंने कहा कि जो लोग केदारनाथ आपदा राहत को लेकर उंगली उठा रहे हैं, वही कांग्रेसी हाथ 2013 में आई आपदा के समय राहत पहुंचाने की बजाय दिल्ली दरबार में हाथ फैलाए बैठा था। तब मैं प्रदेश अध्यक्ष था और सबने देखा कि नरेन्द्र मोदी बतौर गुजरात के मुख्यमंत्री और शिवराज चौहान राज्य में मदद करने के लिए उत्तराखंड आए हुए थे। इतना ही नहीं आपदा में भी राजनीति करते हुए तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने गुजरात सरकार की 22 बोगी राहत सामग्री को पीड़ितों तक नहीं पहुंचने दिया। इतना ही नहीं तत्कालीन राज्य सरकार के संरक्षण में कांग्रेसियों के हाथ राहत सामग्री पर टूट पड़े थे। वहीं आज प्रदेश सरकार ने केन्द्र की मदद से केदारनाथ आपदा में शानदार और प्रभावी प्रबंधन किया, उसकी तारीफ चारों ओर हो रही है।
उन्होंने मंत्रियों के केदारघाटी दौरों पर लगाए कांग्रेसी आरोपों पर कहा कि भाजपा के लिए देश और क्षेत्र का विकास, जन स्वास्थ्य, जनसुविधा प्राथमिकता में हमेशा रहा है, चुनाव नहीं। इसी दृष्टि से लगातार हमारे प्रदेश सरकार और केन्द्र की एजेंसियां वहां लोगों के जीवन आमूलचूल परिवर्तन लाने में जुटी हैं। हमारी डबल इंजन सरकार की कोशिशें का नतीजा है कि लाखों लाख श्रद्धालु पावन धर्मो में पहुंच रहे हैं। अब चूंकि कांग्रेस के नेता चुनाव में ही सक्रिय होते हैं लिहाजा उन्हें वहां आजकल ही मंत्रियों की मौजूदगी नजर आ रही होगी।
तीरथ सिंह रावत ने मूल निवास एवं भू-कानून को लेकर पूछे गए सवाल पर कहा कि सरकार इस संबंध में सभी जरूरी कदम उठा रही है। जिन लोगों ने भी अवैध तरीके से नियमों का उल्लंघन कर या लालच आदि देकर भूमि कब्जाई है उन पर सरकार आवश्य कार्यवाही करेगी। इस पूरे मुद्दे पर स्वयं की सक्रियता, जन जागरूकता भूमि बचाने को लेकर भी बेहद जरूरी है।
उन्होंने डेमोग्राफी बदलने के नाम पर राज्य का माहौल खराब करने के आरोप पर कांग्रेस को आइना दिखाया कि छह दशक सत्ता में रहते इन्होंने तुष्टिकरण और देश समाज को बांटने की राजनीति को आगे बढ़ाया है। यही लोग हैं जिनके पास वोट बैंक और सत्ता में बने रहने के अतिरिक्त कोई नीति नहीं है। वहीं आज प्रधानमंत्री मोदी के मार्गदर्शन में देश तेजी से विकास कर रहा है और भारतीय संस्कृति अपने चरम की और अग्रसर है।