Prabhat Vaibhav,Digital Desk : बॉलीवुड स्टार सलमान खान की मुश्किलें बढ़ती ही जा रही हैं। लगता है राजस्थान से उनके संबंध ठीक नहीं चल रहे हैं। पहले वे हिरण से जुड़े एक मामले में फंसे और अब पान मसाला के भ्रामक विज्ञापन से जुड़ा एक मामला सामने आया है। शुक्रवार को एक उपभोक्ता अदालत ने बॉलीवुड अभिनेता सलमान खान को पान मसाला के भ्रामक विज्ञापन मामले में अदालत में पेश होने और प्रस्तुत पावर ऑफ अटॉर्नी पर हस्ताक्षर की फोरेंसिक जांच कराने का आदेश दिया।
20 जनवरी को उपस्थिति की तिथि
अदालत ने कहा कि इस मामले की अगली सुनवाई 20 जनवरी को होगी। अदालत के आदेशानुसार, हस्ताक्षर सत्यापन रिपोर्ट प्राप्त होने के बाद ही आगे की कार्रवाई की जाएगी। यह मामला भ्रामक विज्ञापनों और उपभोक्ता हितों से संबंधित है और अदालत ने इसका गंभीरता से संज्ञान लिया है।
इस मामले की अगली सुनवाई 20 जनवरी, 2026 को होनी है। इस मामले के बाद सलमान खान की मुश्किलें बढ़ती नजर आ रही हैं। उन्हें अपने वकील आर.सी. चौबे के साथ व्यक्तिगत रूप से पेश होने और जवाब देने का निर्देश दिया गया है, जिन्होंने पावर ऑफ अटॉर्नी को प्रमाणित किया था।
अधिवक्ता रिपुदमन सिंह ने बताया कि इस मामले में आपत्ति भाजपा नेता इंदर मोहन सिंह हनी ने दर्ज कराई है। शिकायतकर्ता का आरोप है कि अभिनेता सलमान खान द्वारा प्रस्तुत पावर ऑफ अटॉर्नी और अन्य दस्तावेजों पर किए गए हस्ताक्षर असली नहीं बल्कि संदिग्ध हैं। इस संबंध में शिकायत दर्ज कराई गई थी। आज उपभोक्ता न्यायालय ने मामले की सुनवाई करते हुए अभिनेता सलमान खान के हस्ताक्षरों की फोरेंसिक जांच का आदेश दिया। न्यायालय ने यह भी स्पष्ट किया कि सलमान खान को स्वयं घटनास्थल पर उपस्थित होकर अपने हस्ताक्षरों के नमूने देने होंगे ताकि उनकी तुलना प्रस्तुत दस्तावेजों से की जा सके।




