
Prabhat Vaibhav,Digital Desk : अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप अपनी कंपनियों को धमकाते नज़र आ रहे हैं। भारत और चीन में कारोबार खोल रही अमेरिकी कंपनियों को अमेरिकी सरकार ने चेतावनी दी है। इससे पहले अमेरिकी सीनेटर भारत, चीन और ब्राज़ील की अर्थव्यवस्थाओं को तबाह करने की बात करते नज़र आए थे। अब ट्रंप ने भी भारत-चीन में कारोबार खोल रही अमेरिकी कंपनियों को चेतावनी दी है।
अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने कहा, "एआई की दौड़ जीतने के लिए सिलिकॉन वैली में देशभक्ति और राष्ट्रीय निष्ठा की एक नई भावना की आवश्यकता होगी। हमारी कई बड़ी टेक कंपनियों ने चीन में अपने कारखाने बनाकर और भारत में कर्मचारियों की भर्ती करके अमेरिकी स्वतंत्रता का लाभ उठाया। मेरे कार्यकाल में वे दिन अब खत्म हो गए हैं।"
अमेरिकी सीनेटर ने भारत-चीन को धमकी दी
उल्लेखनीय है कि अमेरिकी राष्ट्रपति का यह बयान अमेरिकी सीनेटर और ट्रंप के करीबी सहयोगी लिंडसे ग्राहम द्वारा रूस के साथ तेल व्यापार करने वाले देशों की अर्थव्यवस्थाओं को नष्ट करने की धमकी के एक दिन बाद आया है।
अमेरिकी सीनेटर ने क्या कहा?
अमेरिकी सीनेटर लिंडसे ग्राहम ने चेतावनी दी है कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप रूस से तेल आयात करने वाले देशों, खासकर भारत, चीन और ब्राजील पर भारी टैरिफ लगाएंगे। फॉक्स न्यूज को दिए एक साक्षात्कार में ग्राहम ने कहा, "ट्रंप रूसी तेल खरीदने वाले देशों - चीन, भारत और ब्राजील - पर टैरिफ लगाने जा रहे हैं।" अमेरिकी सीनेटर ने भारत, चीन और ब्राजील की अर्थव्यवस्थाओं को तबाह करने की धमकी देते हुए कहा, "मैं चीन, भारत और ब्राजील से यही कहूंगा: अगर आप इस युद्ध को जारी रखने के लिए सस्ता रूसी तेल खरीदते रहे, तो हम आपको और आपकी अर्थव्यवस्था को पूरी तरह से बर्बाद कर देंगे, क्योंकि आप जो कर रहे हैं वह खून का पैसा है।"
रूस को यूक्रेन के खिलाफ वित्तीय सहायता मिल रही है
रूस के कच्चे तेल निर्यात में इन तीनों देशों की हिस्सेदारी लगभग 80 प्रतिशत है। ऐसे में अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप के करीबी सहयोगी ग्राहम ने कहा कि रूस से तेल खरीदकर उन्हें यूक्रेन के खिलाफ युद्ध के लिए धन जुटाने में मदद मिल रही है।
अमेरिका 100 प्रतिशत टैरिफ लगाएगा
उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति ट्रंप रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन को दी जाने वाली वित्तीय सहायता बंद करने की योजना बना रहे हैं। उन्होंने आगे कहा, "राष्ट्रपति ट्रंप इन सभी देशों पर 100 प्रतिशत टैरिफ लगाने जा रहे हैं, जिससे पुतिन की मदद करने वाले देशों को सज़ा मिलेगी।"