2025 में पहली महिला अंतरिक्ष यात्री चांद पर कदम रखेगी। नासा ने नए अंतरिक्ष मिशन की तैयारी शुरू कर दी है।
नासा की उप प्रबंधक कैथरीन लाइडर्स ने कहा कि अंतरिक्ष यात्री 14 दिनों तक चंद्रमा पर रहेंगे। आईआईटी मुंबई के ‘टेकफेस्ट 2022’ में कैथरीन ने ‘नासा’ की भविष्य की योजनाओं की जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि हम फिर से चाँद पर जा रहे हैं। लेकिन इस बार दो अंतरिक्ष यात्री चांद पर उतरेंगे। अंतरिक्ष यात्रियों में एक महिला होगी। इस अभियान की तैयारी अगले दो साल तक जारी रहेगी। मिशन को ‘आर्टेमिस’ नाम दिया गया है। इस साल ‘आर्टेमिस 1’ मिशन अंतरिक्ष यात्रियों के बिना अंतरिक्ष यान का परीक्षण करेगा। आर्टेमिस 2 मिशन 2024 में लॉन्च किया जाएगा। इस मिशन में अंतरिक्ष यान अंतरिक्ष यात्रियों के साथ चंद्रमा की परिक्रमा करेगा। उसके बाद 2024 में ही कंपनी ‘स्पेसएक्स’ का अंतरिक्ष यान बिना अंतरिक्ष यात्रियों के चांद पर उतरेगा।
कैथरीन ने कहा कि 2025 में दो अंतरिक्ष यात्री चांद पर कदम रखेंगे। नासा का यह मिशन 5 से 6 दिन का होगा। इसमें चांद पर तरह-तरह के शोध किए जाएंगे और आगे के रिसर्च के लिए कुछ मशीनें लगाई जाएंगी। वहीं, आगे के शोध के लिए चांद से कुछ तत्वों को धरती पर लाया जाएगा। अगले चरण में नासा चांद पर 30 दिन का मिशन पूरा करेगा। इन 30 दिनों में से स्पेस यात्री लगभग दो हफ्ते चांद पर बिताएंगे। इस दौरान नासा तरह-तरह के शोध करेगा।’