Prabhat Vaibhav,Digital Desk : औद्योगिक क्षेत्र देवरिया में प्लाट आवंटन के कथित धोखाधड़ी मामले में मंगलवार को पूर्व आईपीएस अमिताभ ठाकुर की जमानत याचिका पर सुनवाई नहीं हो सकी।
सुनवाई का कारण
अधिवक्ताओं की ओर से कोर्ट में जमानत प्रार्थना पत्र दाखिल किया गया, लेकिन पैरवी नहीं की गई। इसके कारण प्रभारी मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट (सीजेएम) ने याचिका खारिज कर दी।
गिरफ्तारी और मामले का विवरण
अमिताभ ठाकुर 10 दिसंबर से न्यायिक हिरासत में जेल में बंद हैं।
लखनऊ के तालकटोरा थानाक्षेत्र के आवास विकास कालोनी निवासी संजय शर्मा की तहरीर पर अमिताभ ठाकुर और उनकी पत्नी नूतन ठाकुर के खिलाफ 12 सितंबर 2025 को धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज हुआ था।
मामले की जांच एसआईटी को सौंपी गई थी। 10 दिसंबर को विवेचक शोबरन सिंह ने अमिताभ ठाकुर को गिरफ्तार किया।
अदालत में पेश करने के बाद उन्हें गंभीर धाराओं के आधार पर न्यायिक हिरासत में जेल भेजा गया।
जमानत याचिका क्यों खारिज हुई
अधिवक्ताओं ने जमानत की मांग की, लेकिन आरोपित के परिवार की ओर से मामले को उच्च न्यायालय में ले जाने की मंशा जताई। इसके चलते सीजेएम ने जमानत याचिका खारिज कर दी।




