Prabhat Vaibhav,Digital Desk : ऑफिस में कुर्सी पर बैठकर काम करने वाले युवाओं में गर्दन का दर्द आम बात है। शरीर के किसी भी हिस्से में दर्द पूरे शरीर का संतुलन बिगाड़ सकता है, ऐसे में गर्दन के दर्द ने युवाओं का जीवन मुश्किल बना दिया है।

इसके लक्षणों की बात करें तो शरीर में कई लक्षण दिखाई देते हैं, जिनमें सबसे आम है गर्दन का दर्द, जो कभी तेज तो कभी हल्का होता है। गर्दन के दर्द में गर्दन की हालत ऐसी हो जाती है कि एक तरफ से दूसरी तरफ देखना मुश्किल हो जाता है।
गर्दन में दर्द होने से हाथों में कमजोरी भी आ जाती है, जिससे दैनिक कार्यों को करना मुश्किल हो जाता है और मांसपेशियों में अकड़न होने लगती है। ऐसे लक्षण दिखने पर मरीज को तुरंत डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए, लेकिन आइए जानते हैं कि गर्दन में दर्द क्यों होता है?

मांसपेशियों में खिंचाव, गलत मुद्रा में बैठना, लंबे समय तक कंप्यूटर या मोबाइल का उपयोग करना और पर्याप्त नींद न लेना गर्दन में दर्द का कारण बन सकता है, खासकर आईटी पेशेवरों में जो लंबे समय तक बैठकर काम करते हैं।

इसके इलाज की बात करें तो डॉक्टर इसके पीछे का कारण बताते हुए कहते हैं कि सबसे पहले गर्दन में दर्द का कारण पता लगाना जरूरी है, क्योंकि कई मामलों में दर्द के कारण अलग-अलग होते हैं और उसी के अनुसार इलाज का तरीका तय किया जाएगा।

अगर गर्दन में दर्द बैठने की स्थिति के कारण हो रहा है, तो ऐसे में मरीज को बिना देरी किए बैठने की स्थिति बदलनी चाहिए। इसके अलावा, दर्द से राहत पाने के लिए नियमित रूप से व्यायाम करें, क्योंकि शरीर के किसी भी हिस्से में दर्द अक्सर व्यायाम की कमी के कारण भी होता है। हालांकि, अगर यह दर्द गंभीर रूप ले रहा है, तो ऐसे में डॉक्टर से सलाह जरूर लें।




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