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Prabhat Vaibhav,Digital Desk : उत्तराखंड सरकार अब शहरी क्षेत्रों में रहने वाले नागरिकों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने की दिशा में एक ठोस कदम उठा रही है। तेजी से बढ़ती शहरी जनसंख्या के दबाव को देखते हुए, राज्य ने 13 नगर निकायों में 117 शहरी स्वास्थ्य एवं आरोग्य केंद्र स्थापित करने का निर्णय लिया है। यह पहल राज्य में सार्वजनिक स्वास्थ्य सेवाओं को मजबूती देने की दिशा में मील का पत्थर साबित हो सकती है।

मलिन बस्तियों को मिलेगी प्राथमिकता

इस योजना के तहत मलिन बस्तियों को प्राथमिकता दी जा रही है। इन इलाकों में रहने वाले लोगों को अब अपने घरों के पास ही प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाएं मिल सकेंगी, जिससे समय और पैसे दोनों की बचत होगी। विशेषकर उन लोगों को लाभ होगा जिन्हें पहले मामूली इलाज के लिए भी दूर के अस्पतालों में जाना पड़ता था।

वित्त आयोग से मिली आर्थिक सहायता

इन स्वास्थ्य केंद्रों की स्थापना के लिए 15वें वित्त आयोग से 81.57 करोड़ रुपये की राशि प्राप्त हुई है। केंद्र सरकार की यह आर्थिक मदद योजना को जमीन पर उतारने में बेहद सहायक सिद्ध हो रही है। इस पूरी योजना को सुचारु रूप से संचालित करने के लिए ब्रेथवेट एंड कंपनी लिमिटेड को जिम्मेदारी सौंपी गई है।

प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाएं मिलेंगी

इन शहरी आरोग्य केंद्रों में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र की तर्ज पर सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी। इनमें चिकित्सा परामर्श, स्वास्थ्य जांच, दवाइयां, और अन्य मूलभूत सेवाएं दी जाएंगी, जिससे नागरिकों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उनके ही क्षेत्र में उपलब्ध हो सकेगी।

भविष्य की योजनाओं की नींव

इस पहल के पहले चरण की सफलता के आधार पर योजना को अन्य नगर निकायों में भी विस्तार दिया जाएगा। शहरी विकास सचिव नितेश कुमार झा ने बताया कि शहरी विकास विभाग और स्वास्थ्य विभाग मिलकर इस परियोजना को मूर्त रूप दे रहे हैं। उनका लक्ष्य है कि जल्द से जल्द ये केंद्र कार्यरत हो जाएं और आमजन को इसका लाभ मिलने लगे।