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Prabhat Vaibhav,Digital Desk : उत्तराखंड के यमुनोत्री धाम की यात्रा पर जाने वाले तीर्थयात्रियों के लिए स्यानाचट्टी का प्रमुख पड़ाव अब कुछ हद तक राहत की सांस ले रहा है। बीते कुछ दिनों से यमुना नदी के बहाव में रुकावट से स्यानाचट्टी में झील बनने लगी थी, जिससे क्षेत्र के लोग डरे हुए थे। अब इस झील का जलस्तर धीरे-धीरे कम होने लगा है और हालात सामान्य होते नजर आ रहे हैं।

यह स्थिति तब बनी जब 28 जून की रात सिलाई बैंड के पास बादल फटा और भारी बारिश के चलते कुपड़ा गाड़ उफान पर आ गई। इस उफान के साथ भारी मात्रा में मलबा और सिल्ट यमुना नदी में पहुंच गया, जिससे नदी का प्रवाह अवरुद्ध हो गया और स्यानाचट्टी में झील बनने लगी।

इस झील का पानी आसपास के घरों और होटलों के निचले हिस्सों में भी घुस गया था, जिससे लोग घबराहट और चिंता में दिन गुजार रहे थे।

जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी शार्दुल सिंह गुसाईं ने जानकारी दी कि झील का पानी पूरी तरह से नहीं रुका था, इसलिए तत्काल कोई बड़ा खतरा नहीं था। लेकिन स्थिति को और बेहतर बनाने के लिए भारी मशीनरी स्यानाचट्टी भेजी गई है, ताकि कुपड़ा गाड़ से आया मलबा और सिल्ट हटाया जा सके। अब झील का पानी धीरे-धीरे घट रहा है, जिससे इलाके के लोग थोड़ी राहत महसूस कर रहे हैं।